क्रेस्ट कंपनी के श्रमिक आज से करेंगे आंदोलन :

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14 फरवरी 2023
राजनांदगांव।
 क्रेस्ट स्टील एण्ड पावर प्रा.लि. जोरातराई कंपनी पिछले 20 वर्षों से उत्पादित है, जिसमें करीब 800 श्रमिक कार्यरत है, कंपनी द्वारा शासन की बिना अनुमति लिये अक्टूबर 2019 से अप्रैल 2021 तक कंपनी को बंद किया गया था, इस संबंध में कंपनी द्वारा श्रमायुक्त रायपुर के समक्ष अनुमति हेतु आवेदन प्रस्तुत किया गया था, जिसे श्रमायुक्त महोदय नया रायपुर द्वारा खारिज किया गया, उक्त समय का वेतन रेग्युलर (स्टाफ) के 200 कर्मचारियों को लगातार भुगतान किया गया किंतु 500 श्रमिकों को मात्र 12 माह का वेतन भुगतान किया गया, जबकि चार माह का वेतन बांकी है तथा 100 श्रमिकों को 20 माह का वेतन भुगतान ही नहीं किया गया, इस संबंध में राजनांदगांव के श्रम विभाग में इन 10 महीनों में 22 बैठकें आयोजित की गयी किंतु श्रम विभाग के अधिकारी औपचारिकता पूरी कर रहे है, औद्योगिक विवाद अधिनियम 1947 की धारा 25 (एम) के अनुसार बंद के दौरान का श्रमिकों को बकाया पूरा वेतन भुगतान करना है, किंतु स्थानीय प्रबंधक अड़ीयल रूख अपनाये हुये है, इसलिए श्रमिकगण अपना बकाया वेतन पाने आंदोलन के लिए मजबूर है।

उन्होंने यह भी कहा कि श्रमिकगण वर्ष 2021 तक यूनियन से जुड़े नहीं थे इसलिये स्थानीय प्रबंधकों ने मजदूरों के वेतन की राशि गबन कर लिये अब उन्हे भुगतान करने की नौबत आ रही है इसलिये स्थानीय प्रबंधक जिला व पुलिस प्रशासन को गुमराह कर रहे हैं, इस संबंध में जिला कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक, एस.डी.एम., सी.एस.पी., श्रम विभाग तथा सोमनी थाना को भी हमने दिनांक 08.02.2023 को लिखित पत्र दे चुके है।

छत्तीसगढ़ मुक्ति मोर्चा के अध्यक्ष कामरेड भीमराव बागड़े ने कहा कि जहां के श्रमिक संगठित होते हैं संघर्ष कर अपना हक पाते है किंतु जहां के लोग संगठित नहीं है, उन श्रमिकों के लिए शासन की ओर से कोई कार्यवाही नहीं की जा रही, इसलिए जिला प्रशासन स्तर पर जांच कमेटी गठित करना चाहिये जिसमें यूनियन प्रतिनिधियों को भी शामिल करना चाहिए ताकि श्रमिकों को शोषण से बचाया जा सके।